6 दिसंबर 2025 का पंचांग: शुभ मुहूर्त, तिथि, नक्षत्र और योग
6 दिसंबर 2025 का पंचांग देखें—आज की तिथि, नक्षत्र, योग, शुभ मुहूर्त, राहुकाल, चंद्र राशि और व्रत-त्योहार की पूरी जानकारी। शनिवार के दिन का संपूर्ण विवरण।

6 दिसंबर 2025 का पंचांग: शुभ मुहूर्त, तिथि, नक्षत्र, योग और व्रत-त्योहार
6 दिसंबर 2025, शनिवार का दिन धार्मिक और ज्योतिषीय दृष्टि से महत्वपूर्ण है। पौष मास के आगमन के साथ आज का दिन पूजा-पाठ, दान-धर्म और आध्यात्मिक कार्यों के लिए शुभ माना गया है। यदि आप किसी शुभ कार्य की शुरुआत या पूजा-अर्चना का सही समय जानना चाहते हैं, तो यहाँ प्रस्तुत है 6 दिसंबर 2025 का पूरा पंचांग।
आज का दिन, वार, मास और सूर्योदय-सूर्यास्त
दिन: शनिवार
मास: पौष मास, कृष्ण पक्ष
विक्रम संवत: 2082
ऋतु: हेमंत
सूर्योदय: 06:31 AM
सूर्यास्त: 05:24 PM
सूर्य राशि: वृश्चिक
आज की तिथि और चंद्र स्थिति
तिथि: 03:01 AM तक — कृष्ण पक्ष प्रतिपदा ,उसके बाद — कृष्ण पक्ष द्वितीया
चंद्र राशि: मिथुन
चंद्रमा नक्षत्र परिवर्तन:
08:48 AM तक :मृगशिरा नक्षत्र
उसके बाद — आर्द्रा नक्षत्र
नक्षत्र, योग और करण
नक्षत्र
मृगशिरा : सुबह 08:48 AM तक
आर्द्रा : 08:48 AM के बाद
योग
शुभ योग :पूरे दिन (दिन ज्योतिषीय रूप से संतुलित)
करण
तैतिल करण: 12:56 AM – 11:08 AM
गरजा करण: 11:08 AM – 09:26 PM
आज के शुभ मुहूर्त
अभिजीत मुहूर्त
11:29 AM – 12:11 PM
ब्राह्म मुहूर्त
05:10 AM – 05:58 AM
आज के अशुभ मुहूर्त (इन समयों से बचें)
राहु काल :09:36 AM – 10:54 AM
गुलिक काल:06:31 AM – 07:50 AM
यमगण्ड काल:01:10 PM – 02:29 PM
आज के व्रत-त्योहार
6 दिसंबर 2025 को किसी बड़े त्योहार या प्रमुख लोक-व्रत की जानकारी उपलब्ध नहीं है।
फिर भी कृष्ण पक्ष द्वितीया होने के कारण भगवान शिव, माता दुर्गा और कुल-देवता की पूजा करना शुभ माना जाता है।
आज के विशेष उपाय
आज शनिवार होने और कृष्ण पक्ष होने के कारण ये उपाय फलदायी होंगे—
शनिदेव की उपासना करें
तिल का तेल, काला कपड़ा, उड़द दाल अर्पित करें।
पीपल के वृक्ष के नीचे दीपक जलाएँ
कार्यक्षेत्र, धन और कर्म सुधार में लाभ मिलता है।
ओम नमः शिवाय का जाप
मन-शांति और सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है।
गरीबों को भोजन या काला तिल दान
शनि दोष कमजोर होता है।
6 दिसंबर 2025 का दिन पूजा-पाठ, जप-तप और आध्यात्मिक कार्यों के लिए शुभ है।
अभिजीत मुहूर्त (11:29 – 12:11 PM) किसी भी शुभ आरंभ के लिए श्रेष्ठ रहेगा।
राहु काल और अशुभ समय से बचकर किया गया कार्य अधिक फलदायी होता है।

