Saturday Astro Tips: शनिवार के 5 आसान उपाय, शनि साढ़ेसाती और दोष से मिले राहत

Saturday Astro Tips: शनिवार के 5 अचूक उपाय जानें जिनसे शनिदेव की कृपा प्राप्त होती है। शनि साढ़ेसाती, ढैय्या और शनि दोष के प्रभाव को कम करने के लिए मंत्र जाप, सरसों तेल दान, पीपल पूजा और अन्य सरल ज्योतिषीय उपाय।

Published On 2025-12-20 17:37 GMT   |   Update On 2025-12-20 17:37 GMT

शनिवार के 5 अचूक उपाय: शनिदेव की कृपा से कम होगा साढ़ेसाती का असर

शनिवार का दिन भगवान शनिदेव को समर्पित माना जाता है। शास्त्रों के अनुसार शनिदेव व्यक्ति को उसके कर्मों के अनुसार फल देते हैं, इसलिए उन्हें कर्मफल दाता और न्याय का देवता कहा जाता है। मान्यता है कि शनिवार के दिन विधि-विधान से पूजा और कुछ खास उपाय करने से कुंडली में चल रही शनि साढ़ेसाती, ढैय्या और शनि दोष के कष्टकारी प्रभाव काफी हद तक कम हो सकते हैं। आइए जानते हैं शनिवार को किए जाने वाले 5 आसान और अचूक उपाय।

शनिदेव के मंत्र का जाप करें

शनिवार के दिन सुबह स्नान के बाद शांत मन से

“ॐ शं शनैश्चराय नमः”

मंत्र का 108 बार जाप करें। ऐसा करने से शनि साढ़ेसाती और ढैय्या के दुष्प्रभाव कम होते हैं और मन को शांति मिलती है।


सरसों के तेल का दान करें

शनिवार की सुबह एक स्टील की कटोरी में सरसों का तेल लें और उसमें एक सिक्का डाल दें। कुछ देर उसमें अपना चेहरा देखें, फिर यह तेल किसी गरीब, जरूरतमंद या शनि मंदिर में दान कर दें। दान करते समय 108 बार शनि मंत्र का जाप करें। यह उपाय शनि दोष में राहत देता है।

गाय को रोटी खिलाएं

शनिवार के दिन काली गाय की सेवा करना शुभ माना जाता है। घर की पहली रोटी गाय को खिलाएं। रोटी में थोड़ा गुड़ या चीनी रख सकते हैं। चाहें तो गाय के सींग में मौली बांधें, सिंदूर का तिलक लगाएं और मोतीचूर का लड्डू खिलाएं। इससे शनि की कृपा मिलती है।

पीपल के पेड़ पर जल और दीपक अर्पित करें

शनिवार की शाम, अंधेरा होने के बाद एक लोटे में थोड़ा सा पानी और चीनी मिलाएं। इस मीठे जल को पीपल के पेड़ पर चढ़ाएं और सरसों के तेल का दीपक जलाएं। इसके बाद पीपल की सात परिक्रमा करें। यह उपाय शनि साढ़ेसाती के कष्ट कम करने में सहायक माना जाता है।

मछलियों को आटा खिलाएं

शनिवार के दिन मछलियों को आटा खिलाना भी शुभ माना गया है। आटे में थोड़ा तिल या काली उड़द दाल का पाउडर मिलाकर छोटी-छोटी गोलियां बना लें। इन्हें तालाब, नदी या जलाशय में मछलियों को खिलाएं। इससे शनि महादशा और ढैय्या के प्रभाव कम होते हैं।

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